
अमेरिकी खुफिया एजेंसियों ने चेतावनी दी है कि ISIS के आतंकी, जल्द ही काबुल एयरपोर्ट पर हमला करने की प्लानिंग कर रहे हैं. इस चेतावनी के बाद काबुल एयरपोर्ट की सुरक्षा में तैनात अमेरिकी सैनिकों को और चौकन्ना कर दिया गया है. खुफिया एजेंसियों ने एक बेहद विशिष्ट अलर्ट जारी करते हुए कहा है कि ISIS का खुरसान मॉड्यूल (ISIS-K) अब काबुल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के बाहर लोगों पर हमला करने की योजना बना रहा है. इस मामले में बड़ी बात यह है कि अमेरिका के इस अलर्ट को तालिबान ने भी कबूल किया है.
व्हाईट हाउस ने पहले ही चेतावनी दी थी कि नागरिकों को निकालने के लिए भेजे गए अमेरिकी सैनिक अफगानिस्तान में जितने लंबे समय तक रहेंगे, उतनी ही अधिक संभावना है कि काबुल हवाई अड्डे पर ISIS के द्वारा हमला किया जाएगा. ऐसे में अमेरिका चाहता है की जितनी जल्दी हो सके वो अपने सैनिकों को अफगानिस्तान से वापस बुलाये.
CNN ने एक अज्ञात अमेरिकी रक्षा अधिकारी का हवाला देते हुए बताया कि इस इनपुट के बाद से काबुल हवाई अड्डे की सुरक्षा के बारे में अमेरिका की चिंताएं बढ़ गई हैं. काबुल पर कब्जे के बाद अफगानिस्तान छोड़ने के लिए बड़ी संख्या में स्थानीय नागरिक एयरपोर्ट के बाहर जमावड़ा लगाए हुए हैं. ऐसे में इतनी भीड़ के बीच एयरपोर्ट की सुरक्षा करने की चुनौतियां भी बढ़ गई हैं. ऐसी स्थिति में अगर ISIS का हमला हुआ तो काफी संख्या में लोग मारे जा सकते हैं और हताहत हो सकते हैं.
ख़ुफ़िया एजेंसी का कहना है कि ISIS के खुरसान मॉड्यूल के आतंकी पहले से ही अफरा-तरफी भरे एयरपोर्ट पर और अधिक अराजकता फैलाने की तैयारी में हैं. इसके लिए वे कथित तौर पर कई हमलों को अंजाम देने के लिए योजनाएं बना रहे हैं.
तालिबान के एक प्रवक्ता ने भी CNN के साथ इंटरव्यू में ISIS के खुरसान शाखा से संभावित हमलों के बारे में रिपोर्टों को स्वीकार किया है. कुछ दिनों पहले ही तालिबान ने ISIS के 4 लड़ाकों को एयरपोर्ट के बाहर से पकड़ा था.
तालिबान ने लोगों से भी कहा है कि वे एयरपोर्ट की तरफ बड़ी संख्या में न जाएं. इसी दिन तालिबान ने एयरपोर्ट के रास्तों को अफगान नागरिकों के लिए बंद कर दिया था. जिसके बाद अब केवल विदेशी नागरिक ही काबुल एयरपोर्ट की ओर जा रहे हैं. वैसे तालिबान ने कहा है कि वह 31 अगस्त के बाद एक दिन भी एयरपोर्ट पर अमेरिकी सैनिकों को बर्दाश्त नहीं करेगा.
आईएसआईएस आईएसआईएस के खुरसान मॉड्यूल ने पहले भी अफगानिस्तान में कई आतंकी हमले किए हैं। इस आतंकी संगठन ने मई में काबुल में लड़कियों के एक स्कूल पर हुए घातक विस्फोट की जिम्मेदारी ली थी, जिसमें 68 लोग मारे गए और 165 घायल हो गए थे। ISIS-K ने जून में ब्रिटिश-अमेरिकी HALO ट्रस्ट पर भी हमला किया था, जिसमें 10 लोग मारे गए और 16 अन्य घायल हो गए थे।
ISIS के खुरसान मॉड्यूल ने पहले भी अफगानिस्तान में कई आतंकी हमले किए हैं. इस आतंकी संगठन ने मई में काबुल में लड़कियों के एक स्कूल पर हुए घातक विस्फोट की जिम्मेदारी ली थी, जिसमें 68 लोग मारे गए और 165 घायल हो गए थे. ISIS-K ने जून में ब्रिटिश-अमेरिकी HALO ट्रस्ट पर भी हमला किया था, जिसमें 10 लोग मारे गए और 16 अन्य घायल हो गए थे.