
पटना से दिल्ली जाने वाली तेजस राजधानी एक्सप्रेस के पहले ही सफ़र में ऐसी घटना घटी जो पुरे देश में फोटो और विडियो के माध्यम से वायरल होने लगी. इस घटना के वायरल होने का मुख्य कारण तेजस एक्सप्रेस का पहला सफ़र नहीं था बल्कि उस सफ़र में सफ़र कर रहे विधायक गोपाल मंडल की हरकत थी.
अक्सर विवादों में रहने वाले बिहार के भागलपुर जिला के गोपालपुर विधानसभा क्षेत्र से जनता दल युनाइटेड (JDU) के विधायक गोपाल मंडल की उनकी ताजा हरकत की वजह से मुश्किलें बढ़ गई हैं. पटना के राजेंद्र नगर से नई दिल्ली जा रही 02309 तेजस राजधानी एक्सप्रेस में यात्रा करने के दौरान गोपाल मंडल के बनियान और अंडरवियर पहनकर अनुसूचित जाति के एक यात्री से गाली-गलौज करने के मामले में जीआरपी थाने में एफआईआर दर्ज किया गया है. उनके अलावा तीन अन्य लोगों के विरुद्ध भी आरा जीआरपी थाना में केस दर्ज हुआ है.
इस मामले में जीरो एफआईआर नई दिल्ली से पुलिस अधीक्षक, रेल विकास बर्मन को ई-मेल के जरिये आवेदन आया था. एसपी, रेल विकास बर्मन के निर्देश पर आरा जीआरपी में जेडीयू विधायक गोपाल मंडल, कुणाल सिंह, दिलीप कुमार, विजय मंडल पर प्राथमिकी दर्ज की गई है. वहीं, इस मामले में पटना जोन के रेल एसपी विकास बर्मन ने बताया कि शिकायतकर्ता प्रह्लाद पासवान ने जो आवेदन नई दिल्ली स्टेशन पर दिया था, उसमें मारपीट, सोने के गहने लूटने, गाली-गलौज और जाति सूचक शब्दों का प्रयोग करने का आरोप लगाया गया है. पुलिस इसकी जांच में जुट गई है और इसके आधार पर आगे की कार्रवाई की जा रही है. इस कांड में प्रत्यक्षदर्शियों (गवाहों) को गवाही के लिए बुलाने की कार्रवाई की जा रही है.
बिहार के जहानाबाद जिले के हुलासगंज थाना क्षेत्र के मुरगांव निवासी प्रह्लाद पासवान ने नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर अपने लिखित आवेदन में कहा था कि जब मैं तेजस राजधानी एक्सप्रेस से दिनांक 2 सितंबर को यात्रा कर रहा था. ट्रेन के कोच नंबर (गोपनीय) एवं बर्थ नंबर 22 पर मेरा आरक्षण था. मेरे साथ अन्य यात्री भी उस कोच में सीट नंबर 21 पर सफर कर रहे थे. रात्रि के लगभग 8:26 बजे ट्रेन आरा के बिहियां स्टेशन को पार कर रही थी. नीरज कुमार मंडल उर्फ गोपाल मंडल विधायक विधानसभा का बर्थ नंबर 13, कुणाल सिंह बर्थ नंबर 14, दिलीप कुमार बर्थ नंबर-15, विजय मंडल बर्थ नंबर-16 यह सभी लोग सफर कर रहे थे. विधायक समेत चारों यात्रियों का पीएनआर नंबर 6255128378 था. सभी यात्री अपने-अपने बर्थ पर आराम कर रहे थे, तभी विधायक गोपाल मंडल चड्ढी-बनियान पहन कर बाथरूम जा रहे थे. इस दौरान मैंने उन्हें कहा कि इस ट्रेन में महिलाएं भी यात्रा कर रही हैं, आप कृपया गमछा (टॉवेल) लपेट लें. यह सुनते ही विधायक आगबबूला हो गए और अपने साथियों के साथ ट्रेन में बैठे लोगों के सामने मुझसे गाली-गलौज करने लगे, और मेरे दो भर के सोने की चेन और दोनों हाथों की उंगलियों में पहने सोने की अंगूठियों को छीन लिया. उन्होंने मेरे लिए जातिसूचक शब्दों का प्रयोग कर पूरे ट्रेन में बैठी जनता के सामने अपमानित किया और मेरे मुंह पर गंदा पानी फेंक दिया. विधायक और उनके लोग सभी शराब के नशे में थे. बाद में ट्रेन में यात्रा कर रहे लोगों ने बीच-बचाव कर के झगड़ा शांत करवाया.
चूँकि FIR बिहार के आरा में दर्ज हुआ है और JDU विधायक के खिलाफ दर्ज हुआ है तो ऐसे में मामले की जांच क्या निष्पक्ष और इमानदारी से हो पायेगी ? क्या शिकायतकर्ता को न्याय और दोषी को सजा मिल पाएगी ? अगर देखा जाए तो ये मामला SC/ST एक्ट का भी है, ऐसे में क्या एक्ट के मुताबिक़ विधायक गोपाल मंडल की गिरफ़्तारी होगी ? ऐसे ही सवालों के जवाबों का इंजतार करना होगा.